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मधुमेह को बढ़ने से रोकने के लिए शुरू करें ग्रीन-टी, होगा काफी लाभकारी

स्वास्थ्य

मधुमेह को बढ़ने से रोकने के लिए शुरू करें ग्रीन-टी, होगा काफी लाभकारी

मधुमेह एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या है जिसका जोखिम सभी उम्र के लोगों में देखा जा रहा है। बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक सभी इसका शिकार पाए जा रहे हैं। इसे कंट्रोल में रखने के लिए लाइफस्टाइल और आहार दोनों में सुधार करना जरूरी है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, शुगर को कंट्रोल में रखने के लिए ऐसी चीजों का सेवन करना चाहिए जिनका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 55 से कम होता है। इन चीजों के खाने से तेजी से शुगर बढ़ने का खतरा नहीं रहता है।

कुछ अध्ययन बताते हैं कि शुगर को बढ़ने से रोकने के लिए नियमित रूप से ग्रीन-टी पीने की आदत बनाना भी आपके लिए बहुत लाभकारी हो सकता है। ग्रीन-टी के चमत्कारी स्वास्थ्य लाभ को देखते हुए दुनियाभर में इसकी मांग काफी तेजी से बढ़ी है। इसमें प्रभावी एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं जिन्हें कई प्रकार की क्रॉनिक बीमारियों के खतरे को कम करने वाला पाया गया है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ बताते हैं इसका सेवन शुगर के मरीजों के लिए भी काफी लाभकारी हो सकता है।

ग्रीन-टी और इसके लाभ

ग्रीन-टी सिर्फ एक ताजगी देने वाला पेय पदार्थ नहीं है, ये आपको बीमारियों से बचाए रखने में भी सहायक है।शोधकर्ताओं ने पाया कि ग्रीन-टी ब्लड शुगर के स्तर को कंट्रोल रखने के साथ समग्र स्वास्थ्य को बेहतर  बनाए रखने के लिए एक बेहतर पेय हो सकती है।

ग्रीन टी में कैटेचिन नामक एक तत्व होता है जिसे इंसुलिन संवेदनशीलता को बढ़ाने के लिए फायदेमंद माना जाता है। कोशिकाओं की ग्लूकोज को अवशोषित करने की क्षमता में सुधार करके ब्लड शुगर को प्रभावी ढंग से कंट्रोल करने में इससे आप लाभ पा सकते हैं।

डायबिटीज में ग्रीन-टी के लाभ

शोध से पता चलता है कि मेडिटेरेनियन डाइट प्लान के हिस्से के रूप में ग्रीन-टी को शामिल करना टाइप-2 डायबिटीज को रोकने में सहायक हो सकता है। जिन लोगों ने नियमित रूप से इसके सेवन की आदत बनाई उनमें डायबिटीज विकसित होने का जोखिम भी कम देखा गया। शोध में विशेषज्ञों ने पाया कि ग्रीन-टी इंसुलिन की क्रियाशीलता को बढ़ाने में मदद करती है, साथ ही इंसुलिन प्रतिरोध को कम करती है।

कुछ अध्ययनों के अनुसार, जो लोग प्रतिदिन दो से तीन कप ग्रीन टी पीते हैं, उनमें टाइप-2 डायबिटीज विकसित होने का जोखिम 19% तक कम हो सकता है। इस पेय पदार्थ के नियमित सेवन से उपवास के दौरान रक्त शर्करा का स्तर कम होता है जिससे डायबिटीज के कारण होने वाली अन्य समस्याओं जैसे आंखों की दिक्कत, हार्ट की समस्या और तंत्रिकाओं की दिक्कतों से बचा जा सकता है। मधुमेह प्रबंधन में वजन को नियंत्रित रखने की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है। ग्रीन-टी मेटाबॉलिज्म को बढ़ाकर वेट लॉस करने में भी आपके लिए सहायक है।

कोलेस्ट्रॉल और ब्लड प्रेशर भी रहता है कंट्रोल

डायबिटीज के मरीजों में हृदय रोगों का खतरा भी अधिक होता है। अध्ययनों में पाया गया कि ग्रीन-टी का सेवन कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित करने और रक्तचाप को संतुलित करने में भी मदद करता है। शोध बताते हैं कि यह बैड कोलेस्ट्रॉल (एलडीएल) को कम करके गुड कोलेस्ट्रॉल को बढ़ाने में भी मददगार पेय है, जिससे हृदय रोगों का खतरा कम होता है।

एक अध्ययन के अनुसार, ग्रीन-टी पीने से हृदय रोग के जोखिम को 31% तक कम किया जा सकता है। हालांकि, ग्रीन-टी से हृदय स्वास्थ्य को होने वाले फायदों को जानने के लिए अभी और नैदानिक परीक्षणों की आवश्यकता है।

(साभार)

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Author: Shakshi Negi
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